सोमवार, 24 अप्रैल 2017

सास बहु की मारवाड़ी कविता:

​सास बहु की मारवाड़ी कविता:​

​मत कर सासु बेटो बेटों​
​ओ तो मिनख म्हारो है​

​जद पहनतो बाबा सूट​
​जद ओ गुड्डू थारो  हो​

​अब ओ पहरे कोट पेंट.​  
​अब ओ डार्लिंग म्हारो है​

​जद ओ पीतो बोतल में दूध​
​जद ओ गीगलो थारो हो​

​अब पीवे गिलास में जूस​
​अब ओ मिस्टर म्हारो है​

​जद ओ लिखतो क ख ग​
​जद ओ नानको थारो हो​

​अब ओ करे watsapp sms​
​अब ओ जानू म्हारो है​

​जद ओ खातो चोकलेट आइस क्रीम​
​जद ओ टाबर थारो हो​

​अब ओ खावे पिज़्ज़ा बिस्कुट​
​अब ओ हब्बी म्हारो है​

​जद ओ जातो स्कुल कोलेज​
​जद ओ मुन्नो थारो हो​

​अब ओ जाए ऑफिस में​
​अब ऑफिसर म्हारो है​

​जद ओ मांगतो पोकेट खर्चो​
​जद ओ लाडलो थारो हो​

​अब ओ ल्यावे लाखां रूपिया​
​अब ओ ए टी एम म्हारो है​

​मत कर सासू लालो लालो​
​अब ओ छैलो म्हारो है |​      

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